Present Scenario

Civilizations have grown and flourished on the banks of rivers, lakes, sea shores. It is ironical that the same population has started polluting these water resources

Rivers are serving as lifeline of the Nation and vibrant ecological entities. They are sources of sustenance of our Lives and Socio-cultural identity. They also provide a host of ecosystem services for the human beings and support rich aquatic boidiversity. The threat to rivers has been increasing leaps and bounds over the years as a result of urbamization, industralization and burgeoning population. Over extraction of water for irrigation, industrial use, drinking purpose is compounding the problemof even availability of minimum environment flow. Conservation of river is therefore, one of the important and challenging problems of the Government

वर्तमान परिदृश्य

सभ्‍यताएं नदियों के तटों, झीलों, समुद्र तटों पर बढ़ी और विकसित हुई है। यह विडंबना है कि वहीं आबादी इन जल स्‍त्रोतों को प्रदूषित करने लगी है।

नदियां राष्‍ट्र की जीवन रेखा तथा जीवंत पारिस्थितिक तंत्र के रूप में कार्य कर रही हैं। ये हमारे जीवन निर्वाह के स्‍त्रोत तथा सा‍माजिक संस्‍कृति की पहचान है। वे मनुष्‍यों के लिए पारिस्थितिकी तंत्र सेवाएं प्रदान भी करती है तथा समृद्ध जलीय जैव विविधता की रक्षा करती हैं। पिछले कुछ वर्षों में तेज शहरीकरण, औद्योगीकरण, तेजी से बढ़ती जनसंख्‍या के फलस्‍वरूप नदियों के लिए खतरें में कई गुना वृद्धि हुई है। जल का सिंचाई, औद्योगिक उपयोग तथा पेयजल के उद्देश्‍य से अधिक दोहन न्‍यूनतम पर्यावरण प्रवाह समस्‍या को और अधिक बढ़ा रही है। अत: नदियों का संरक्षण, सरकार की सबसे महत्‍वपूर्ण और चुनौतीपूर्ण कार्यक्रमों में से एक है।

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    There are 12 major river basins and 46 medium river basins in India with 45,000 kms of riverline length

    Out of the total measurable pollution in the rviers from various point sources, around 75% is from muncipal sewage from towns located along the banks of the rivers and remaining 25% is from industrial effluents. Though industrial pollution is only 25% of the pollution load, it also constitutes a great threat to rivers in view of its higher concentration of pollutants and complex profile due to the presence of chemicals metals and other toxic materials.

    As per the report published by Central Pollution Control Board(CPCB) in March 2021, it was estimated that around 72,368 Million Litres Per Day(mld) sewage is being generated from Class I & II towns in the country, against which the total sewage treatment capacity availabe was 31,841 mld, or 37% of the sewage generation. As cities and the towns have not created adequate systems for sewage collection and its treatment, the untreated watewater either goes into rivers or lakes or remains inundated on land causing ground water contamination. CPCB also carries out studies on status of pollution in rivers from time to time and identifies the critically polluted river stretches in the country. As per the latest CPCB Report published, 311 polluted river stretches have been identified on 279 rivers based on Bio-chemical Oxygen Demand (BOD) levels, a key indicator of organic pollution.

    भारत में 45000 किलोमीटर की नदी लंबाई के साथ 12 बड़े और 46 मध्‍यम बेसिन है।

    नदियों में विभिन्‍न बिंदु स्‍त्रोतों से आने वाले कुल मापने योग्‍य प्रदूषणों में से नदियों के किनारे बसे शहरों से निकलने वाले गंदे जल लगभग 75% तथा शेष 25% औद्योगिक अपशिष्‍ट है। यद्यपि औद्योगिक प्रदूषण, प्रदूषण भार का 25% है तथापि रसायनों, धातुओं और अन्‍य विषैले पदार्थों की उपस्थिति से प्रदूषकों की उच्‍च सघनता और जटित संरचना नदियों के लिए अधिक खतरा पैदा करती है।

    केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) द्वारा मार्च 2021 में रिपोर्ट के अनुसार, यह अनुमान लगाया गया कि देश में समूह । और ।। शहरों से प्रतिदिन लगभग 72,368 मिलीयन लीटर सीवेज सृजित हो रहा है जिसके मुकाबले कुल सीवेज उपचार क्षमता 31,841 मिलीयन लीटर प्रतिदिन या सीवेज उत्‍पादन का 37% है। चूंकि शहरों और नगरों में सीवेज एकत्र करने और इसके उपचार की व्‍य‍वस्थित प्रणाली विकसित नहीं की गई है, इसलिए अनुपचारित सीवेज या तो नदियों या झीलों में चले जाते है या भूमि पर पड़े रहते है जो भूमिगत जल को प्रदूषित करते है। सीपीसीबी समय-समय पर नदियों में प्रदूषण की स्थिति पर अध्‍ययन भी करती है तथा देश में गंभीर रूप से प्रदूषित नदियों की पहचान करती है। सीपीसीबी की सितंबर 2018 में प्रकाशित नवीनतम रिपोर्ट के अनुसार जैविक प्रदूषण के एक मुख्‍य संकेतक जैव रसायनिक ऑक्‍सीजन मांग के आधार पर, 279 नदियों में 311 नदी खंडों की पहचान की गई है।

    Acheivements Under NRCP

    Sewage generation in urban Areas 72,368 mld
    (estimated)
    Sewage Treatment Capacity created under NRCP
    (including river Ganga and its tributaries(upto 31.07.2014))
    5541 mld
    Capacity created (other than river Ganga and its trobutaries) under NRCP 2745.76 mld
    River Ganga and its tributaries(upto 31.07.2014) 2796 mld
    About 9% of treated capacity created by NRCD against total sewage generation of the country

    एनआरसीपी के अंतर्गत उपलब्धियां

    शहरी क्षेत्रों में उत्‍पन्‍न सीवेज 72,368 एमएलडी
    (अनुमानित)
    एनआरसीपी के अंतर्गत सृजित सीवेज उपचार क्षमता
    (31.07.2014 तक गंगा और इसकी सहायक नदियों को मिलाकर)
    5541 एमएलडी
    एनआरसीपी(गंगा और इसकी सहायक नदियों को छोड़कर) के अंतर्गत सृजित क्षमता 2745.76 एमएलडी
    गंगा नदी और इसकी सहायक नदियां (31.07.2014) 2796 mld
    एनआरसीडी द्वारा देश में कुल सीवेज उत्‍पादन के मुकाबले 9% उपचार क्षमता सृजित किया गया।

    The following Rivers are covered under NRCP

    Sl.No. River
    1. Adyar
    2. Beas
    3. Bhadra
    4. Brahmani
    5. Cauvery
    6. Cooum
    7. Devika
    8. Dipu & dhansiri
    9. Ghaggar
    10. Godavari
    Sl.No. River
    11. Krishna
    12. Mahanadi
    13. Mandovi
    14. Mindhola
    15. Mula Mutha
    16. Musi
    17. Nag
    18. Nambul
    19. Narmada
    20. Pennar
    Sl.No. River
    21. Pamba
    22. Panchganga
    23. Rayit
    24. Rani Chu
    25. Sabarmati
    26. Satluj
    27. Subararekha
    28. Tapti
    29. Tapi
    30. Tamrabarani
    Sl.No. River
    31. Tawi
    32. Teesta
    33. Thungabadra
    34. tunga
    35. Vaigai
    36. Vennar
    37. Wainganga
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    एनआरसीपी के अंतर्गत निम्‍नलिखित नदियां शामिल है:-

    क्र.सं. नदी
    1. अद्यार
    2. व्‍यास
    3. भद्रा
    4. ब्राह्मिणी
    5. कावेरी
    6. कूयम
    7. देविका
    8. दीपू और धनश्री
    9. घग्‍घर
    10. गोदावरी
    क्र.सं. नदी
    11. कृष्‍णा
    12. महानदी
    13. मांडवी
    14. मिंढोला
    15. मुला मुथा
    16. मूसी
    17. नाग
    18. नाम्‍बुल
    19. नर्मदा
    20. पेन्‍नार
    क्र.सं. नदी
    21. पंबा
    22. पंचगंगा
    23. राईत
    24. रानी चू
    25. साबरमती
    26. सतलुज
    27. सुबर्नरेखा
    28. ताप्‍ती
    29. तापी
    30. ताम्रबर्नी
    क्र.सं. नदी
    31. तवी
    32. तीस्‍ता
    33. तुंगभद्रा
    34. तुंगा
    35. वैगाई
    36. वेन्‍नर
    37. वैनगंगा
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